भोपाल।* मध्य प्रदेश कैडर के 2020 बैच के IAS अधिकारियों की प्रोबेशन पीरियड के बाद की फाइनल रैंकिंग में शिवपुरी जिला पंचायत के CEO *हिमांशु जैन ने बाजी मार ली है। भारत सरकार के डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग (DOPT) द्वारा जारी फाइनल रैंकिंग में हिमांशु ने देशभर के 181 IAS अधिकारियों में 40वीं रैंक हासिल की है। सबसे खास बात ये है कि मध्य प्रदेश कैडर में वे नंबर वन रहे हैं।
DOPT की इस रैंकिंग को “*Fixation of Inter Se Seniority of Probationers” कहा जाता है। यह रैंकिंग IAS अधिकारियों की ट्रेनिंग, मूल्यांकन (Assessment), एसेसमेंट रिपोर्ट और प्रदर्शन के आधार पर तय की जाती है। हिमांशु जैन की यह उपलब्धि इसलिए भी खास है क्योंकि वे अब तक के *MP कैडर के 2020 बैच में सबसे आगे निकल गए हैं।
📋 MP कैडर के अफसरों की नई सीनियरिटी लिस्ट
DOPT द्वारा जारी सीनियरिटी ऑर्डर में हिमांशु जैन के बाद *बालाघाट के CEO अभिषेक सराफ, **डिंडोरी के CEO अनिल कुमार राठौर, **सीधी के CEO अंशुमान राज, **अलीराजपुर के CEO प्रखर सिंह, *सागर के CEO विवेक केवी और छिंदवाड़ा के CEO अग्रिम कुमार के नाम शामिल हैं।
इस लिस्ट में सर्जना यादव का नाम सबसे अंत में है, जो अब एमपी कैडर में ट्रांसफर हो चुकी हैं। बताया जा रहा है कि उन्होंने हिमांशु जैन से विवाह किया है। सर्जना पहले AGMUT कैडर में थीं, लेकिन शादी के बाद अब एमपी कैडर में आ गई हैं। चूंकि वह डायरेक्ट रिक्रूट 2020 बैच की हैं, इसलिए सीनियरिटी लिस्ट में उनका क्रम सबसे नीचे रखा गया है।
❤️ MP को मिलने जा रही हैं एक और महिला IAS
सिर्फ यही नहीं, मध्य प्रदेश को एक और महिला IAS अधिकारी जल्द मिलने जा रही हैं। *2023 बैच की दृष्टि जायसवाल, जो पहले *कर्नाटक कैडर में थीं, अब MP कैडर में ट्रांसफर हो रही हैं। इसका कारण है उनका विवाह एमपी कैडर के 2023 बैच के IPS अधिकारी मनस्वी शर्मा से हुआ है।
केंद्रीय कार्मिक मंत्रालय ने इस विवाह के आधार पर कैडर परिवर्तन की अनुमति दी है। इसके साथ ही MP कैडर में महिला IAS अधिकारियों की संख्या में इज़ाफा होगा।
🔍 प्रोबेशन के दौरान होती है गहन मूल्यांकन प्रक्रिया
IAS अधिकारियों की प्रोबेशन अवधि में *ऑन-फील्ड ट्रेनिंग, **पब्लिक डीलिंग, **सरकारी स्कीम्स का कार्यान्वयन, और *लिखित मूल्यांकन शामिल होता है। इस प्रदर्शन के आधार पर ही उनकी ऑल इंडिया रैंकिंग और राज्य सीनियरिटी तय होती है।
हिमांशु जैन की यह रैंकिंग न सिर्फ शिवपुरी जिले बल्कि पूरे मध्य प्रदेश के लिए गर्व की बात है। यह दिखाता है कि प्रदेश में नौजवान अफसरों का टैलेंट किस स्तर तक पहुंच रहा है।